
ماكديت نساها
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ماكديت نساها
उसे भूल नहीं पाया मैं उसे भूल नहीं पाया, चाहे कितनी कोशिश की हर याद फिर से मुझे जीवित कर देती है वो मेरे ख्यालों में आती है, और पल चुरा लेती है Betoul SA, तुम्हारा प्यार कभी नहीं खो सकता कैसे भूलूँ तुम्हारी हँसी? कैसे भूलूँ तुम्हारी बातें? तुम वो रूह हो जो कभी मुझे छोड़ नहीं सकती चाहे मैं तुमसे दूर हूँ, तुम्हारा प्यार मेरे सामने है हर कदम जो मैंने तुम्हारे साथ उठाया, मेरे दिल में बसा है तुम्हारी आँखें वो सितारे थीं, जिनमें जीवन की उम्मीद थी Betoul SA, तुम्हारे बिना, दुनिया का रंग ही फीका हो गया मैं उसे भूल नहीं पाया, और कभी नहीं भूल पाऊँगा तुम्हारा प्यार हमेशा मेरे अंदर रहेगा, चाहे कुछ भी हो
